श्रमिकों के हितों की रक्षा में महत्वपूर्ण योगदान अदा करता है ईपीएफओ व टीयूसीसी
अम्बेडकरनगर: श्रमिकों के हितों में सक्रियता से कार्य करने वाले संगठन ईपीएफओ व टीयूसीसी की तीन सदस्यीय टीम ने जनपदीय दौरा करते हुए श्रमिकों का दोहन करने वाले ठेकेदारों पर नकेल कसने की पहल शुरू कर दिया है।
कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) बोर्ड के ट्रस्टी एसपी तिवार, ट्रेड यूनियन कोआर्डिनेशन सेंटर (टीयूसीसी) के राष्ट्रीय अध्यक्ष हंस राज अकेला व टीयूसीसी के प्रदेश महामंत्री प्रमोद पटेल ने एनटीपीसी के आवासीय कालोनी में स्थित सरयू भवन अतिथि गृह में स्थानीय पत्रकारों से वार्ता करते हुए श्रमिको के हित केंद्र सरकार द्वारा चलाई जा रही कल्याणकारी योजनाओं के बारे में विस्तार से चर्चा किया।
ईपीएफओ के ट्रस्टी सदस्य एसपी तिवारी ने बताया कि कामगार श्रमिकों का सम्बन्धित ठेकेदारों द्वारा उत्पीड़न किए जाने की शिकायत स्थानीय संगठनों के माध्यम से प्राप्त हुई है जिसमें वेंडरों द्वारा श्रमिकों का पैसा निकाल लेते हैं और जो श्रमिक विरोध करता है तो उसे काम से निकाल देते हैं तथा श्रमिको के पीएफ का पैसा भी नहीं कटता है और किसी घटना दुर्घटना पर श्रमिकों की मृत्यु होने पर उनके परिजनों को समुचित मुआवजा भी नहीं दिया जा रहा है और अवकाश का भी पैसा श्रमिकों को नहीं दिया जा रहा है। उक्त सभी शिकायतों को सुना गया है और जल्द ही वेंडरों व श्रमिक संगठनों के बीच वार्ता करा कर मामले को सही कराने का प्रयास किया जाएगा।
श्री तिवारी ने बताया कि ईपीएफओ से 31 करोड़ लोग जूट हुए हैं तथा केंद्रीय व राज्य स्तर पर संगठन काफी मज़बूती से काम कर रहा है। उन्होंने बताया कि उत्तर प्रदेश के कई जनपदों का दौरा जारी है और जहां जहां भी श्रमिकों को समस्याएं आ रही है, उनका सम्पूर्ण समाधान करने का प्रयास ईपीएफओ व टीयूसीसी द्वारा किया जा रहा है।
ईपीएफओ के ट्रस्टी एसपी तिवारी ने वेण्डरों को चेतावनी भी दिया कि श्रमिकों का उत्पीड़न बन्द कर उनका हक समय से दिया जाए, अन्यथा संगठन कठोर कार्यवाही के लिए बाध्य होगी। श्री तिवारी ने कहा कि केंद्र सरकार ने श्रमिकों के हित में नई योजना शुरू किया है जो प्रधानमंत्री विकसित भारत रोजगार योजना के नाम से जानी जाती है। श्री तिवारी ने बताया कि उक्त योजना का लाभ उठाया जा सकता है।