उत्तर प्रदेश के कासगंज जनपद में पुलिस हिरासत में रहस्यमय ढंग से हुई 25 वर्षीय अल्ताफ़ की मृत्यु पर सपा,बसपा, कांग्रेस, एआईएमआईएम सहित अन्य राजनीतिक पार्टीयों ने भाजपा सरकार को घेरने शुरू कर दिया है। भीम आर्मी ने भी अल्ताफ़ की मौत के ज़िम्मेदारों को सख्त से सख्त सजा देने की मांग किया है। भीम आर्मी के संस्थापक सदस्य व अम्बेडकर नगर जनपद निवासी अब्बास गाज़ी भी कासगंज पहुंच कर पीड़ित परिजनों से मुलाकात किया और एक तहरीर कोतवाली थाने के खिलाफ़ एसएसपी को दिया। अब्बास गाज़ी का कहना है की अब तक परीवार ने तहरीर इसीलिए नही दी थी कि परिवार को पुलिस ने भारी दवाब में ले रखा था पुलिस अल्ताफ के परिजनो से एक खाली पत्र पर अंगूठा लगवाकर कर अपने पक्ष लिखा और वीडियो भी बनवाया अब हम लोग परिवार के साथ खड़े हैं आज हम तहरीर दिलवा कर मुक्दम्मा दर्ज कराएंगे।
आसपा नेता अब्बास गाज़ी का कहना है की इस लडाई को हम आगे तक लड़ेंगे इसमें एसएचओ समेत पुरे कोतवाली पुलिस कर्मियों पर हत्या का मुकदमा दर्ज़ होना चाहिए अगर मुकदमा दर्ज़ नही हुआ तो हम कोर्ट का सहारा लेंगे और परिवार को न्याय दिलाएंगे अब्बास गाज़ी ने कहा की आज एक गरीब परिवार के बच्चे को पुलिस थाने मे मार देती है और सरकार उन दोषी पुलिसकर्मियों के ऊपर अभी तक कोई कार्यवाही नहीं की है जिसे हम बर्दास्त नहीं कर सकते हैं।
बताते चलेंकि कासगंज पुलिस ने कहा था कि अल्ताफ ने लॉकअप के शौचालय में लगे 2 फीट के नल से टी शर्ट के हुड की लगी रस्सी को निकालकर आत्महत्या कर ली. इस बीच पोस्टमार्टम की रिपोर्ट भी सामने आई है, जिसमें हत्या की बड़ी वजह हैंगिंग को ही बताया गया है यानी अल्ताफ की मौत दम घुटने से हुई है।
सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने पुलिस की थ्योरी पर सवाल खड़ा किया, ‘आखिर 5 फुट 6 इंच लंबे अल्ताफ ने 2 फीट की ऊंची नल की टोटी से कैसे फांसी लगा ली? कासगंज में पूछताछ के लिए लाए गए युवक के थाने में मौत का मामला संदेहास्पद है. कुछ पुलिसवालों का निलंबन सिर्फ दिखावटी कार्रवाई है, न्यायिक जांच होनी चाहिए।
बीएसपी भी हमलावर हुई है. बसपा सुप्रीमो मायावती ने मांग की कि सरकार घटना की उच्चस्तरीय जांच कराकर दोषियों को सख्त सजा दे. वहीं, इस मामले में उत्तर प्रदेश सरकार के कानून मंत्री ब्रजेश पाठक ने कहा कि ऐसी घटनाओं को लेकर उत्तर प्रदेश सरकार गंभीर है, दोषियों को खिलाफ सख्त कार्रवाई के आदेश दिए गए हैं।
कासगंज पहुंचे भीम आर्मी के संस्थापक सदस्य अब्बास गाज़ी ने कहा कि कासगंज की घटना से उत्तर प्रदेश पुलिस का घिनौना चेहरा सामने आ गया है।